मेलबर्न: ऑस्ट्रेलिया वैज्ञानिकों ने दावा किया है कि बढ़ती आयु में संगीत सुनने या इस तरह के वाद्य यंत्र बजाने से डिमेंशिया (स्मृति लोप) का खतरा काफी हद तक कम हो सकता है। ऑस्ट्रेलिया की मोनाश यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं ने 10,800 से ज्यादा बुज़ुर्गों पर किए गए एक अध्ययन के बाद यह निष्कर्ष निकाला है। मोनाश यूनिवर्सिटी ने गुरुवार को एक बयान जारी कर इस अध्ययन के बारे में जानकारी दी है। शोध में पाया गया कि 70 वर्ष से अधिक आयु के जो लोग हमेशा संगीत सुनते थे, उनमें डिमेंशिया विकसित होने का खतरा उन लोगों की तुलना में 39 प्रतिशत कम था जो कभी नहीं या कभी-कभार ऐसा करते थे।
वहीं, संगीत वाद्ययंत्र बजाने से डिमेंशिया के खतरे में 35 प्रतिशत की कमी देखी गयी। इंटरनेशनल जर्नल ऑफ़ जेरिएट्रिक साइकिएट्री में प्रकाशित इस अध्ययन के अनुसार, जो लोग संगीत सुनते हैं उनमें स्मृति को नुकसान होने की संभावना 17 प्रतिशत तक कम हो जाती है। साथ ही ऐसे लोगों में रोजमर्रा की घटनाओं को याद करने की क्षमता भी अधिक होती है।
मोनाश विश्वविद्यालय की प्रमुख शोधकर्ता एम्मा जाफ़ा ने कहा, "संगीत गतिविधियाँ वृद्धों में संज्ञान संबंधी स्थिति को बनाए रखने के लिए एक अच्छी रणनीति हो सकती हैं और इस दिशा में अभी काफी प्रयोग किये जाने की आवश्यकता है।" शोधकर्ताओं ने कहा कि विश्व की एक बड़ी आबादी वृद्धों की है और लंबी उम्र के साथ स्मृति लोप एवं दिमाग संबंधी अन्य बीमारियां भी लगातार बढ़ रही हैं। ऐसे में यह अध्ययन सहायता उपलब्ध करा सकता है। शोधकर्ताओं ने बताया कि डिमेंशिया का अभी तक कोई इलाज नहीं है।



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