books: क्या आपने कभी सोचा है कि किताबें गोल या त्रिभुजाकार क्यों नहीं होतीं? वजह सुनकर आप भी कहेंगे वाह क्या बात है...

Tue, Apr 08 , 2025, 09:33 PM

Source : Hamara Mahanagar Desk

Motivation Quotes: आपने अपने जीवन में कम से कम एक बार कुछ किताबें अवश्य पढ़ी होंगी। इनमें से कुछ किताबें उबाऊ होंगी, जबकि अन्य दिल को छूने वाली होंगी। इन सब के बीच क्या आपके मन में कभी कोई सवाल उठा है? किताबें एक ही आकार की क्यों होती हैं? किताबें (books) कभी गोल या त्रिभुजाकार या किसी अन्य आकार की क्यों नहीं होतीं? आजकल हर चीज में इतनी रचनात्मकता है, तो फिर किताबें एक ही आकार की क्यों बनी हुई हैं? आइये जानें क्या है असली वजह...

व्यावहारिक डिजाइन
पुस्तक का ऊर्ध्वाधर या आयताकार आकार इसे शेल्फ पर रखना, प्रतिदिन बैग में ले जाना, या एक-दूसरे के ऊपर रखना आसान बनाता है। यदि पुस्तकें गोल या त्रिभुजाकार होतीं तो उन्हें संभालना और ले जाना थोड़ा कठिन होता। जरा सोचिए, यदि किताबें गोल होतीं तो वे बैग में ठीक से नहीं आतीं। यदि पुस्तकें त्रिभुजाकार होतीं, उन पुस्तकों के कोने मुड़े होते, और पुस्तकालय में पुस्तकों को रखने के लिए जगह नहीं होती, तो क्या होता?

मुद्रण के वैज्ञानिक कारण
मुद्रण मशीनों में प्रयुक्त होने वाली बड़ी कागज़ की शीटें आयताकार होती हैं। इन कागजों को पुस्तक के आकार में मोड़ने का सबसे सुविधाजनक और कम से कम अपव्यय वाला तरीका आयताकार है। इसलिए गोलाकार या त्रिकोणीय पुस्तकें बनाने का मतलब है अधिक समय खर्च करना और अधिक कागज़ की शीटें बर्बाद करना...

इसका आकार भी पढ़ने के लिए सुविधाजनक होना चाहिए!
जब आप कोई किताब खोलते हैं तो आपकी आंखें बाएं से दाएं और ऊपर से नीचे की ओर घूमती हैं। इस पठन विधि के लिए सबसे अच्छा विकल्प आयताकार पृष्ठ हैं। गोलाकार पृष्ठों पर पाठ रखना और त्रिकोणीय पृष्ठों पर पाठ मुद्रित करना पृष्ठों पर स्थान की बर्बादी है।

प्राचीन काल में लोग स्क्रॉल (Long rolls of paper) पर लिखते थे, लेकिन स्क्रॉल को पढ़ना बहुत कठिन होता था, रोल को बार-बार खोलना पड़ता था। लेकिन जब पुस्तकों का आविष्कार हुआ तो आयताकार आकार सबसे सुविधाजनक लगा और धीरे-धीरे यह आकार आदर्श बन गया और आज भी ऐसा ही है।

उत्पादन से लेकर डिजाइन तक
पुस्तकें सिर्फ पढ़ने के लिए नहीं होतीं, उन्हें डिजाइन और मुद्रित भी किया जाता है। छपाई के बाद उन्हें जिल्द बनाकर विक्रेताओं को भेजना होता है। यह पूरी प्रक्रिया वर्गाकार, आयताकार आकार में सबसे आसान और सस्ती है। यह आकार प्रकाशकों के लिए सबसे अधिक लागत प्रभावी भी है।

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