प्रीपेड भुगतान कार्ड वालों के लिए थर्ड-पार्टी मोबाइल एप के साथयूपीआई लेन-देन की सुविधा चालू!

Fri, Dec 27 , 2024, 10:53 PM

Source : Uni India

मुंबई। भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने मोबाइल भुगतान में सहायक प्रीपेड पेमेंट कार्ड या माध्यम (PPI) रखने वालों धारकों को थर्ड-पार्टी (तीसरे पक्ष के) मोबाइल एप्लिकेशन के जरिए यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (UPI) भुगतान करने और प्राप्त करने की अनुमति दे दी है। आरबीआई ने इस संबंध में शुक्रवार को नए दिशानिर्देश जारी कर दिए।इससे उपहार कार्ड, डिजिटल वॉलेट या ट्रांजिट कार्ड पर निर्भर पीपीआई उपयोगकर्ताओं को और आसानी होगी।

बैंक ने अप्रैल की मौद्रिक नीति समीक्षा में यह सुविधा देने का प्रास्ताव किया था। पीपीआई उद्योग ने पीपीआई की स्वीकार्यता को बढ़ाने वाले इस कदम का स्वागत करते हुए कहा कि इससे खास कर ग्रामीण क्षेत्रों में वित्तीय समावेशन का विस्तार होगा।
बैंक की विज्ञप्ति के अनुसार यह सुविधा उन पीपीआई धारकों के लिए होगी, जिनका केवाईसी सत्यापित होगा और इस सत्यापन की जिम्मेदारी पीपीआई जारी करने वाले भुतान सेवा प्रदाता (PSP) की होगी।

वर्तमान में, किसी बैंक खाते से या बैंक खाते में यूपीआई भुगतान उस बैंक या किसी तीसरे पक्ष के एप्लिकेशन प्रदाता के यूपीआई एप्लिकेशन का उपयोग करके किया जा सकता है। लेकिन किसी पीपीआई से या पीपीआई में यूपीआई भुगतान केवल उस पीपीआई कार्ड या माध्यम को जारी करने वाले पीएसपी द्वारा प्रदान किए गए मोबाइल एप्लिकेशन का उपयोग करके ही किया जा सकता है।

आरबीआई की विज्ञप्ति में कहा गया है कि अब तीसरे पक्ष के यूपीआई एप्लिकेशन के माध्यम से पूर्ण-केवाईसी पीपीआई के साथ भुगतान का लेन-देन सक्षम करने के 05 अप्रैल, 2024 के उसके वक्तव्य के अनुसार निर्णय लिया गया है। इससे पीपीआई धारक तीसरे पक्ष के यूपीआई एप्लिकेशन के मोबाइल एप्लिकेशन के माध्यम से यूपीआई भुगतान करने/प्राप्त करने में सक्षम होंगे।

स्पाइस मनी के संस्थापक एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी (CEO) दिलीप मोदी ने इस निर्णय का स्वागत करते हुए कहा, “भारतीय रिजर्व बैंक का निर्णय पूरे देश में वित्तीय समावेशन को आगे बढ़ाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। पीपीआई और यूपीआई के बीच की खाई को पाटकर, यह पहल लाखों उपयोगकर्ताओं के लिए डिजिटल लेनदेन की पहुंच और सुविधा को बढ़ाने वाली है, जिससे उन्हें व्यक्तिगत प्लेटफ़ॉर्म की सीमाओं से निकल कर सहजता से लेनदेन करने में सक्षम बनाया जाता है।”

उन्होंने कहा कि ऐसे ग्रामीण समुदायों में जहाँ बैंकिंग बुनियादी ढाँचा सीमित हो सकता है, यह एकीकरण भुगतान सुविधाओं के क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण छलांग है। यह कदम उपहार कार्ड, डिजिटल वॉलेट या ट्रांजिट कार्ड पर निर्भर पीपीआई उपयोगकर्ताओं को डिजिटल भुगतान पारिस्थितिकी तंत्र में लेन-देन करने और अधिक आसानी होगी। श्री मोदी ने कहा कि पीपीआई और यूपीआई के बीच बढ़ी हुई अंतर-संचालन क्षमता न केवल लेनदेन को सरल बनाएगी है, बल्कि पूर्व-स्वीकृत प्रमाणीकरण तंत्र के माध्यम से अधिक विश्वास और सुरक्षा भी पैदा करेगी है। यह निर्णय भारत के एक मजबूत, समावेशी डिजिटल अर्थव्यवस्था के दृष्टिकोण के अनुरूप है।

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