Interfaith Marriage : अब अंतरधार्मिक जोड़ों के लिए 'सुरक्षा कवच'; ठाणे जिले में एक विशेष सेल शुरू किया जाएगा

Wed, Apr 03, 2024, 11:12

Source : Hamara Mahanagar Desk

ठाणे शहर: ऑनर किलिंग (honor killing) की घटनाओं को लेकर राज्य सरकार (state government) गंभीर हो गई है और ऐसी घटनाओं पर नियंत्रण के लिए एक विशेष सेल बनाया जाएगा. ठाणे जिले (Thane district) में भी एक सेल तैयार किया गया है और ऑनर किलिंग को रोकने के लिए तत्काल कार्रवाई की जाएगी. साथ ही ऐसे जोड़ों के लिए सेफ हाउस भी तैयार किया जाएगा.

सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने संविधान में अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का अधिकार बताते हुए अंतर-धार्मिक (inter-religious) या अंतर-जातीय विवाह (inter-caste marriages) करने वाले जोड़ों की ऑनर किलिंग और सरकार की कमी पर चिंता जताते हुए देश के हर राज्य में एक विशेष सेल की स्थापना का आदेश दिया और प्रशासन. इसके लिए योजना बनाने का आदेश दिया गया है. उस आदेश के मुताबिक राज्य सरकार ने इस संबंध में सर्कुलर जारी कर दिया है. कलेक्टरों और पुलिस आयुक्तों को अंतरजातीय और अंतरधार्मिक विवाहित जोड़ों को सुरक्षा और सुरक्षित आवास प्रदान करने की जिम्मेदारी सौंपी गई है.

समिति के माध्यम से अंतरजातीय/अंतरधार्मिक विवाह करने वाले जोड़ों को आवश्यकतानुसार सुरक्षित घर सहायता उपलब्ध कराने का ध्यान रखा जाएगा. इसमें शर्त लगाई गई है कि यह सुरक्षा घर ऐसे स्थान पर होना चाहिए जहां जोड़े को पुलिस सुरक्षा दी जा सके. दंपति शुरुआत में मामूली शुल्क पर एक महीने के लिए एक सुरक्षित घर उपलब्ध कराना चाहते हैं. मामले की गंभीरता को देखते हुए अधिकतम एक वर्ष की अवधि के लिए सुरक्षित घर उपलब्ध कराया जाना चाहिए. इस संबंध में महाराष्ट्र सरकार की ओर से एक सर्कुलर जारी किया गया है.

'शक्ति वाहिनी' की जनहित याचिका
शक्ति वाहिनीनामक संस्था ने सुप्रीम कोर्ट में जनहित याचिका दायर कर सरकार को आदेश दिया था कि ऑनर किलिंग की घटनाओं को रोका जाए और उनके अधिकारों की रक्षा की जाए क्योंकि यह सरकार की जिम्मेदारी है. यह आदेश सुप्रीम कोर्ट की बेंच ने पारित किया था. इस आदेश को लागू करने की पहल अब महाराष्ट्र सरकार द्वारा शुरू कर दी गई है.

विशेष कमरों सहित
पुलिस आयुक्त, पुलिस अधीक्षक, जिला समाज कल्याण अधिकारी और जिला महिला एवं बाल विकास अधिकारी का एक विशेष सेल शुरू किया गया है. पुलिस आयुक्त/अधीक्षक इस सेल के अध्यक्ष होंगे तथा जिला समाज कल्याण अधिकारी सदस्य तथा जिला महिला एवं बाल विकास अधिकारी सदस्य सचिव होंगे. इस समस्या पर काम करने के लिए कलेक्टर/जिला मजिस्ट्रेट, संबंधित जिले के नगर निगम आयुक्त, पुलिस अधीक्षक/पुलिस आयुक्त, जिला समाज कल्याण अधिकारी, महिला एवं बाल विकास अधिकारी की एक समिति बनाई गई है.

अंतरजातीय विवाह करने वालों को साथी चुनने का अधिकार है; लेकिन कट्टरपंथियों के इसके ख़िलाफ़ होने के कारण ऑनर किलिंग की घटनाएं होती रहती हैं. ऐसे लोगों को कानून का सामना करने की जरूरत है. सुप्रीम कोर्ट द्वारा की गई टिप्पणी स्वागतयोग्य है; लेकिन सरकारी तंत्र को सावधानी से लागू करना चाहिए.
- विजय घाटे, राष्ट्रीय अध्यक्ष, रिपब्लिकन बहुजन सेना।

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