चंद्रकांत पाटिल के बयान पर उध्दव ठाकरे का जोरदार पलटवार
उध्दव ठाकरे ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और चंद्रकांत पाटिल का माँगा इस्तीफा
मुंबई। बाबरी मस्जिद के संबंध में राज्य के उच्च शिक्षा मंत्री चंद्रकांत पाटिल (Chandrakant Patil) द्वारा दिए गए बयान पर पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray) ने उनपर जोरदार पलटवार किया है.ठाकरे ने कहा कि आज भाजपा नेताओं को बाबरी मस्जिद ढहाए जाने की बहुत याद आ रही है.लेकिन 1992 से आज तक भाजपा के नेता कहा थे.मंगलवार को मातोश्री में आयोजित पत्रकार परिषद में वे बोल रहे थे. चंद्रकांत पाटिल पर निशाना साधते हुए उद्धव ठाकरे ने कहा कि यह बात सब जानते हैं की बाबरी मस्जिद को गिराने में किसका हाथ था. मस्जिद ढ़हने के बाद खुद भाजपा के नेताओं ने बयान दिया था कि बाबरी गिराने का काम सिर्फ शिवसेना कर सकती है.ठाकरे ने कहा कि उस समय बिल में छिपे लोग आज बाहर निकल रहे है.उध्दव ठाकरे ने कहा कि ऐसे बेतुका बयान देने वाले चंद्रकांत पाटिल इस्तीफा दे या राज्य के मुखिया एकनाथ शिंदे को मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देना चाहिए। उन्होंने कहा कि सीएम शिंदे और उनके सहयोगी को पाटिल का बयान क्या उन्हें मान्य है.इसका जवाब शिंदे को देना चाहिए। उद्धव ठाकरे ने कहा कि बालासाहेब ठाकरे को अपना गुरु मानने वाले एकनाथ शिंदे क्या वे अपने गुरु का अपमान सहन करेंगे। भाजपा पर तंज कसते हुए ठाकरे ने कहा कि मेरा मानना है कि यह भाजपा की सोची समझी चाल है जो जानबूझकर बाबरी मस्जिद के ढ़हने के संबंध में बयानबाजी की जा रही है.उन्होंने भाजपा पर आरोप लगाया की धीरे-धीरे वह लोगों के दिल और मन से बालासाहेब को मिटाने की साजिश रच रहे हैं। इसलिए यह लोग बालासाहेब का नाम चुरा रहे हैं। उनके पास ऐसा कोई भी नेता नहीं है जिसने आज़ादी की लड़ाई में हिस्सा लिया हो। उद्धव ठाकरे यहीं नहीं रुके जब उनसे यह पूछा गया कि आपकी आगे की रणनीति क्या है? तब उन्होंने कहा कि भाजपा के कार्यालय में यह स्क्रिप्ट लिखी जा रही है. अगर शिंदे के अंदर बालासाहेब के लिए श्रद्धा होगी तो वो चंद्रकांत पाटिल मंत्रिमंडल से निकालेंगे या फिर खुद इस्तीफ़ा देंगे।
क्या भाजपा का हिंदुत्व गौमूत्र से धुला है
हिंदुत्व मुद्दे पर भाजपा को घेरते हुए उद्धव ठाकरे ने कहा कि क्या भाजपा का हिंदुत्व गौमूत्र से धुला वाला हिंदुत्व है. जिन लोगो का कोई धर्म नहीं है ऐसे लोग हमे क्या हिन्दू धर्म सिखाएंगे अभी राम मंदिर का दर्शन करना सब जा रहे है लेकिन हम अयोध्या तब जाते थे जब इनमें से कोई नहीं जाता था. एकनाथ शिंदे पर सवाल उठाते हुए उन्होंने कहा कि कुछ साल पहले यही एकनाथ शिंदे कल्याण- डोंबिवली चुनाव में स्टेज पर रोते हुए भाजपा पर शिवसैनिकों के साथ अन्याय करने का आरोप लगाते हुए मंत्री पद से इस्तीफा देने की बात कही थी. अब जब उनके गुरु बालासाहेब ठाकरे का अपमान किया जा रहा है तो क्या ऐसे में वे मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देंगे। चंद्रकांत पाटिल का क्या कैबिनेट से हकालपट्टी करेंगे
चंद्रशेखर बावनकुळे का हम गिनती नहीं करते
उध्दव ठाकरे ने कहा कि भाजपा के पास अपना कोई नेता नहीं है जिनके नाम पर वो जनता के सामने आए इसलिए भाजपा दूसरों के नेताओं को उनके आदर्शों को चुराने के काम करती है भाजपा- शिंदे के पास ऐसा कोई नेता नहीं की जिसने देश की आजादी में योगदान दिया हो स्वतंत्रता संग्राम में हिस्सा लिया हो.. इसलिए दूसरो के नेता चुराकर उसे अपना नाम देना इनकी पुरानी आदत है एकनाथ शिंदे सत्ता के लिए किसकी चमचागिरी कर रहे है यह राज्य की पूरी जनता देख रही है.भाजपा प्रदेश अध्यक्ष चंद्रशेखर बावनकुले (Chandrashekhar Bawankule) ने बयान पर पूछे जाने पर उध्दव ठाकरे ने कहा कि ऐसे नेता की हम कोई गिनती नहीं करते। जिन नेताओं को कब क्या बोलना है यह समझ नहीं है ऐसे नेताओं पर बोलना हम ठीक नहीं समझते।
चंद्रकांत पाटिल ने दी सफाई
उद्धव ठाकरे के आरोप के बाद राज्य के उच्च शिक्षा मंत्री चंद्रकांत पाटिल ने अपने बयान को लेकर सफाई दी है.पत्रकारों से बातचीत करते हुए पाटिल ने कहा कि उध्दव ठाकरे को मैं खुद फोन करूंगा और उनसे पूछूंगा कि मेरे बयान पर इगलतफहमी कैसे पाल सकते हैं। मैंने ऐसा नहीं कहा है। बालासाहेब ठाकरे के बारे में मेरे जैसे कार्यकर्ता के मन मे हमेशा श्रद्धा है और रहेगी। बालासाहेब ठाकरे के कारण ही साल 1992 में हुए दंगों के दौरान हिंदू सुरक्षित बचे थे। मैंने अपने साक्षात्कार में बालसाहेब ठाकरे की सराहना की है जहां तक बाबरी ढहाने की बात है तो मेरे कहने का यह मतलब था कि सभी हिंदुओं ने गिराई थी। ढांचा ढहाने का काम विश्व हिंदू परिषद के बैनर तले हुआ था। वहां शिवसेना या फिर किसी अन्य संगठन के नाम का सवाल ही नहीं है। यह काम सारे हिंदुओं ने किया था।
चंद्रकांत पाटिल के बयान से हम सहमत नहीं -उदय सामंत|
उध्दव ठाकरे और चंद्रकांत पाटिल के बीच शुरू बयानबाजी पर उद्योग मंत्री उदय सामंत (Uday Samant) ने कहा कि बाबरी मस्जिद के संबंध में चंद्रकांत पाटिल के बयान से मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) सहित शिवसेना का एक भी नेता और पदाधिकारी सहमत नहीं होगा परन्तु बाबरी मस्जिद ढ़हने के आंदोलन में उध्दव ठाकरे और संजय राउत भी नहीं थे.उध्दव ठाकरे के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के इस्तीफे की मांग पर उदय सामंत ने कहा कि मुख्यमंत्री रहते हुए उध्दव ठाकरे ने दाऊद से सम्बंध रखनेवाले नवाब मलिक का इस्तीफा क्यों नही लिया।
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Tue, Apr 11 , 2023, 07:24 AM